लगातार बढ़े साइबर फ्रॉड को देखते हुए सीबीएसआई ने बच्चों को अवेयर करने की दिशा में काम शुरू कर दिया है। नए शिक्षा सत्र 2022-23 में सीबीएसई के 6वीं से 12वीं तक के विद्यार्थी साइबर सिक्योरिटी और साइबर सेफ्टी का पाठ पढ़ेंगे। इसके लिए शिक्षकाें काे प्रशिक्षण दिया जाएगा।
सीबीएसई के मुताबिक साइबर फ्रॉड के बढ़ते मामलों को देखते हुए इस नए कोर्स को शामिल किया गया है। इसके लिए पहले से टीचर्स को ट्रेनिंग भी दी जा रही है। पहले चरण में प्रारंभिक जानकारी दी गई हैं।
शिक्षकों की वार्षिक परीक्षा के बाद ट्रेनिंग
सीबीएसई स्कूलों में पढ़ा रहे 6वीं से 12वीं तक के शिक्षकों को साइबर फ्रॉड और साइबर सिक्योरिटी की ट्रेनिंग की जाएगी। इसकी थ्योरी और प्रैक्टिकल दोनों बताए जाएंगे, ताकि बच्चों उनके स्तर के आधार पर साइबर सिक्योरिटी और सेफ्टी से संबंधित चीजों के बारे में बताने में उन्हें किसी तरह की दिक्कतें ना हो। इसके लिए एक सत्र की ट्रेनिंग हो चुकी है। दूसरे सत्र की ट्रेनिंग 10वीं और 12वीं की वार्षिक परीक्षा के बाद होगी। इसमें उन्हें इसकी तकनीकी जानकारियां दी जाएंगी। इसकी तैयारी की गई है।
कोर्स को पांच हिस्सों में बांटा गया, होगी पढ़ाई
कोर्स को पांच हिस्सों में बांटा गया है। इसमें छात्रों और शिक्षकों को खतरों की पहचान करना, खुद को सुरक्षित रखना, यदि कोई फ्रॉड हुआ तो उसका पता लगाने उपाय करना, अपने संवेदनशील डाटा को सुरक्षित रखने के तरीके और साइबर क्राइम से उबरने की प्रक्रिया आदि को शामिल किया गया है। स्टेक होल्डर्स को भी इसकी बारीकियां बताई जाएंगी। इससे उन्हें भी साइबर फ्रॉड की जानकारी मिल सके ।